पटना में पिंक बस सेवा शुरू | अब बिहार में भी फ्री बस सेवा शुरू:-राजधानी पटना में शुक्रवार को ‘लेडिज स्पेशल पिंक बस’ सेवा की शुरुआत की गयी, ताकि महिलाएं अपने कार्यस्थलों, शैक्षणिक संस्थानों व अन्य गंतव्यों तक सहज व सुरक्षित पहुंच सकें. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आठ पिंक बसों का लोकार्पण किया और हरी झंडी दिखाकर बसों को रवाना किया. लोकार्पण के बाद गांधी मैदान से दानापुर के लिए पहली पिंक बस का परिचालन शुरू किया गया. यह पहल न सिर्फ महिलाओं के लिए एक सुरक्षित सफर का विकल्प है, बल्कि यह उन्हें सशक्त और आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है.
हाइटेक सुविधाओं से लैस है गुलाबी बस
पिंक बस’ न सिर्फ एक नयी परिवहन सेवा है, बल्कि महिलाओं के लिए सम्मान व सुरक्षा की दिशा में बिहार सरकार का एक सशक्त कदम है. अगर यह मॉडल सफल होता है, तो यह पूरे देश के लिए एक उदाहरण बन सकता है. पिंक बस को पूरी तरह महिलाओं को ध्यान में रखते हुए डिजाइन किया गया है.
- सीसीटीवी
- सुरक्षा निगरानी के लिए हर बस में कई कैमरे लगाये गये है|
- पैनिक बटन
- किसी भी आपात स्थिति में महिलाएं पैनिक बटन का इस्तेमाल कर सकती है.
- जीपीएस ट्रैकिंग
- जीपीएस ट्रैकिंग से बसों की निगरानी रीयल टाइम में की जा सकेगी|
- इमरजेंसी अलार्म सिस्टम
- संकट के समय चालक और नियंत्रण कक्ष को तुरंत सूचित करने की सुविधा है.
- मोबाइल चार्जिंग स्लॉट
- हर सीट के पास चार्जिंग की सुविधा दी गयी है.
पिंक बस से महिलाओं की यात्रा अब सहज व सुरक्षित
महिलाओं की सुरक्षा और सुविधा को ध्यान में रखते हुए बिहार सरकार ने पटना में शुक्रवार को ‘पिंक बस’ सेवा की शुरुआत की. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने । अणे मार्ग स्थित सरकारी आवास परिसर से पिंक बसों का लोकार्पण किया और इस सेवा का औपचारिक उद्घाटन किया. इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी, विजय कुमार सिन्हा और परिवहन मंत्री शीला मंडल भी उपस्थित रहीं.
यह सेवा खासतौर पर शहरी क्षेत्र की कामकाजी महिलाओं, छात्राओं और गृहिणियों को ध्यान में रखकर शुरू की गयी है, जिससे वे निर्भीक और आरामदायक तरीके से यात्रा कर सकें. बिहार राज्य पथ परिवहन निगम के आरएम अरविंद सिंह ने बताया कि शुक्रवार को उद्घाटन के दिन पहले फेज में चार बसों का परिचालन शुरू किया गया है.
बस में है 22 सीटें और इमरजेंसी अलार्म
पिक बस में कुल 22 सीटें हैं, जो महिलाओं के लिए आरक्षित है. इसके अलावा बस में सीसीटीवी कैमरे भी है और सभी 22 सीटों के पास मोबाइल चार्जिंग के अलावा इमरजेंसी अलार्म सिस्टम भी लगाये गये हैं. पहले दिन पिक बस में सफर कर रहीं महिलाओं ने बताया कि बस में हर तरह की सुविधा तो दी गयी है, पर एसी नहीं होने से गर्मी में काफी परेशानी भी हो रही है. हालांकि पहले दिन पिंक बस सेवा की शुरुआत पर महिलाओं में खासा उत्साह देखने को मिला.
पिंक यूनिफॉर्म में बस में होंगी महिला ड्राइवर व कंडक्टर
ड्राइवर व कंडक्टर SMIL फिलहाल वर्तमान में पुरुष ड्राइवरों की हुई है नियुक्ति, BSRTC पिक बसों में टिकट काटने की जिम्मेदारी पूरी तरह महिला कंडक्टर को दी गयी है, वहीं बालक के रूप में फिलहाल पुरुषों की नियुक्ति की गयी है, लेकिन भविष्य में महिला ड्राइवरों को भी जोड़ने की योजना है, पहले दिन सभी स्टाफ पिक यूनिफॉर्म में नजर आये, जो इस सेवा की पहचान को और मजबूत बनाता है.
पहली बस गांधी मैदान से दानापुर के लिए रवाना
शुभारंभ के बाद पहली पिक बस गांधी मैदान से दानापुर के लिए रवाना हुई. यह बस मगध महिला कॉलेज, जेडी वीमेंस कॉलेज, आइजीआइएमएस, सगुना मोड होते हुए दानापुर बस स्टैंड तक गयी. इस रूट पर छात्राओं और कामकाजी महिलाओं की संख्या अधिक होने के कारण इसे प्राथमिकता दी गयी है. इस बस का संचालन सुबह 11:30 बजे से शुरू हुआ और महिलाओं के पहले ही सफर में उत्साह देखने को मिला, आरटीए ने न्यूनतम भाड़ा छह रुपये और अधिकतत भाड़ा 25 रुपये तय किया है.
शहर में विभिन्न पांच रूटों पर चलेंगी आठ बसें
राज्य परिवहन विभाग ने योजना बनायी है कि आगामी दिनों में राजधानी के पांच प्रमुख रूटों पर आठ पिक बसों का संचालन किया जायेगा, ये रूट हैं।
- गांधी मैदान
- मगध महिला कॉलेज-जेडी वीमेस कॉलेज- दानापुर स्टेशन-सगुना मोड़
- गांधी मैदान
- मगध महिला कॉलेज-पटना जंक्शन- पुराना सचिवालय- चितकोहरा-अनीसाबाद- महावीर कैसर सस्थान- फुलवारी चौक- एम्स
- गांधी मैदान
- मगध महिला कॉलेज-पटना जंक्शन- राजेंद्र नगर-एनएमसीएच- कुम्हरार-जीरो माइल-पटना साहिब स्टेशन
- गांधी मैदान
- मगध महिला कॉलेज-पटना वीमेंस कॉलेज- बोरिंग रोड गोलंबर-एपन कॉलेज-पाटलिपुत्र गोलंबर- पी एंड एम कॉलेज- दीघा बाटा मोड- दानापुर बस स्टैंड
- गांधी मैदान
- गोलघर- पुलिस लाइन मोड़-राजापुल-एलसीटी घाट- कुजी-दीघा-दानापुर बस स्टैंड
पहले दिन यात्रा करने वाली महिलाएं बोलीं-
मैं बहुत खुश हूं कि हमारे लिए ‘पिक बस’ जैसी सुविधाजनक और सुरक्षित बस सेवा की शुरुआत अपने शहर में की गयी है. बस की सीट्स बहुत आरामदायक है, और सबसे अच्छी बात यह है कि हर सीट पर मोबाइल चार्जिंग व इमरजेंसी अलार्म उपलब्ध है, कॉलेज जाने वाली लड़कियों के लिए यह सेवा बहुत लाभकारी साबित होगी, क्योंकि अब हमें सार्वजनिक परिवहन में अक्सर होने वाली भीड़-भाड़ से राहत मिलेगी. स्नेहा भारती, अभियाना
पिक बस की शुरुआत वास्तव में महिलाओं के लिए एक बेहतरीन कटम है. मुझे यह देखकर अच्छा लगा कि बस में टिकट काटने के लिए महिला कंडक्टर को नियुक्त किया गया है. इस छोटी सी पहल से हमें एक एहसास होता है कि अब हमारी सुरक्षा को प्राथमिकता दी जा रही है. मैं हर रोज घर से ऑफिस जाती है, और अब मुझे बहुत राहत महसूस हो रही है कि इस बस में मैं सुरक्षित महसूस करती हूं. रीता कुमारी, मिणी, पुनाईक
अब तक, काम पर जाने के लिए मुझे अक्सर ऑटो या इ-रिक्शा पकड़ने पड़ते थे, जो बहुत असुविधाजनक होते थे. पिक बस ने इस समस्या का हल निकाल दिया है. अब में महज 15 रुपये में गांधी मैदान से पटना जंक्शन तक आराम से जा सकती है, हालाकि, गर्मी के मौसम में एसी की व्यवस्था की आवश्यकता महसूस हो रही है, लेकिन बस की बाकी सुविधाएं बहुत ही बेहतर है. माया कुमारी, क्काहाग